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प्राचीन तालाब (काली पोखर) लहरौली का पौरवाल परिवार ने कराया जीर्णोद्धार।

प्राचीन तालाब (काली पोखर) लहरौली का पौरवाल परिवार ने कराया जीर्णोद्धार।

भिंड / जहां एक ओर सरकार के द्वारा महत्वाकांक्षी जल गंगा संवर्धन योजना चलाई जा रही है वही दूसरी ओर लहरौली के पौरवाल परिवार के द्वारा प्राचीन विशाल तालाब का जीर्णोद्धार कराया गया है। जी हां हम बात कर रहे हैं भिंड जिला मुख्यालय से 25 किलोमीटर की दूरी पर स्थित लहरौली गांव की, जंहा करीब 400 वर्ष प्राचीन तालाब जो अपना अस्तित्व खोने की कगार पर था। पोरवाल परिवार अपने पूर्वजों की पूजा करने के लिए 2 महीने पहले गृह गांव लहरौली आया हुआ था और उन्होंने देखा कि प्राचीन तालाब खत्म होने की कगार पर है, जिसकी वजह से बेसहारा गाय, जीव जंतु पानी पीने के लिए परेशान हो रहे हैं, तभी विधि विधान के साथ पूजन कराकर श्रीपाल, रामप्रकाश, रामरूप, मुंशी, संतोष, नाथू इधर सभी पोरवाल परिवार ने ग्रामीणों के सहयोग से प्राचीन तालाब (काली पोखर) का जीर्णोद्धार करवाया, जीर्णोद्धार होने के बाद तालाब का आकार करीब 50 हजार वर्ग फुट हो गया है जिसकी गहराई करीब 8 फिट है, तालाब बरसात के पानी से भरने के लिए दो रास्ता बनाए हैं बरसात होने के बाद यह प्राचीन तालाब हजारों जीव जंतुओं की प्यास बुझाएगा और वाटर लेवल में मददगार साबित होगा। पोरवाल परिवार के द्वारा जीर्णोद्धार कराए जाने के बाद ग्रामीणों ने उनका आभार जताया है।

भिंड से प्रदीप राजावत की रिपोर्ट।

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