मध्यप्रदेश पंचायत एवं पंचायत चुनाव को लेकर आज आ सकते हैं दो अहम फैसले।

आज मध्य प्रदेश पंचायत एवं त्रिस्तरीय पंचायत को लेकर दो बड़े फैसले आ सकते हैं।मध्य प्रदेश में पिछले कई दिनों से पंचायत चुनाव को लेकर दो मुद्दों पर असमंजस बना हुआ था, जिसको लेकर जहां एक तरफ आज सुप्रीम कोर्ट की ओर से 27% ओबीसी आरक्षण को लेकर फैसला आ सकता है 27% ओबीसी आरक्षण को लेकर मध्य प्रदेश पंचायत चुनाव कराने की कांग्रेस और भाजपा दोनों की मंशा है। वही कुल 50% से ज्यादा आरक्षण देने पर सामान्य वर्ग की ओर से पहले से ही आपत्ति जताई जा चुकी है तो ऐसे में सरकार को दोनों ओर से चुनौती का सामना करना पड़ सकता है। फिलहाल आज सुप्रीम कोर्ट का फैसला आना बाकी है।वहीं दूसरी ओर पंचायत चुनाव में करीब 23 हजार सरपंचों का कार्यकाल मार्च 2020 में ही समाप्त हो गया था ऐसे में सरपंचों को कोरोना काल में 2 वर्ष एडवांस में मिले थे और चुनाव तारीख घोषित होने के बाद 27% आरक्षण को लेकर एक बार पुनः फिर चुनाव स्थगित कर दिया गया था और ऐसे में कुछ घंटों के लिए वर्तमान सरपंचों को ही फिर से प्रभार मिल गया था लेकिन कुछ घंटों के बाद वापस फिर आदेश वापस ले लिया था। लेकिन आज मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सरपंच और सचिवों को लेकर वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए मीटिंग लेने जा रहे हैं जिसमें उम्मीद जताई जा रही है कि पंचायतों में विकास कार्यों को लेकर फिर से उन्हें अधिकार मिल सकते हैं, यदि ऐसा होगा तो एक बार वर्तमान सरपंचों के लिए ऐतिहासिक फैसला होगा। वहीं सरपंच संघ का मानना है कि पंचायत विकास कार्यों के लिए उन्हें आज फिर से अधिकार मिल सकते हैं। मगर जहां एक और 27% आरक्षण को लेकर सुप्रीम कोर्ट का फैसला आएगा वही मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के बाद वर्तमान सरपंचों को क्या फिर से अधिकार दे सकते हैं यह दोनों फ़ैसलों को लेकर प्रदेश की जनता को इंतजार रहेगा।




